नाबार्ड ने किया स्टेट क्रेडिट सेमिनार का आयोजन
देहरादून। नाबार्ड द्वारा स्टेट क्रेडिट सेमिनार का आयोजन किया गया। सेमिनार में वर्ष 2025-26 के स्टेट फोकस पेपर का विमोचन मुख्य सचिव, राधा रतुड़ी, आईएएस द्वारा अपर मुख्य सचिव, उत्तराखंड सरकार, आनंद बर्धन, पंकज यादव, मुख्य महाप्रबंधक, नाबार्ड, डॉ. एस एन पांडे, कृषि एवं बागवानी सचिव, दीप्ति अग्रवाल, महाप्रबंधक, भारतीय रिजर्व बैंक तथा दीपेश राज, महाप्रबंधक, भारतीय स्टेट बैंक की उपस्थिति में किया गया। सेमिनार का मुख्य उद्देश्य राज्य के लिए वर्ष 2025-26 हेतु आंकलित की गई ऋण संभाव्यताओं पर गहन चर्चा करना है। नाबार्ड ने वर्ष 2025-26 हेतु राज्य के लिए घ्54698 करोड रुपए की ऋण संभाव्यता का आंकलन किया है जो विगत वर्ष के वार्षिक ऋण योजना के घ्40158 करोड रुपए से 36ः अधिक है। जिसमें कुल कृषि ऋण घ्19306.96 करोड़, एमएसएमई घ्30477.92 करोड़ तथा अन्य प्राथमिक क्षेत्र में घ्4913.53 करोड़ का आंकलन किया गया है।
नाबार्ड के मुख्य महाप्रबंधक पंकज यादव ने कार्यक्रम में उपस्थित मुख्य सचिव एवं अन्य अतिथियों का स्वागत किया। उन्होंने ऋण योजना को तैयार करने में नाबार्ड की महत्वपूर्ण भूमिका का उल्लेख करते हुए नाबार्ड द्वारा 2025-26 के लिए किए गए ऋण संभाव्यता के बारे में सदन को अवगत कराया। उन्होने नाबार्ड द्वारा राज्य में किए गए कार्यों जैसे दृ किसान उत्पादक संगठनों का गठन, जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों से बचने हेतु प्रदेश में चल रही परियोजनाएँ, स्वयं सहायता समूहों का गठन, राज्य सरकार को आधारभूत संरचना विकास हेतु प्रदत्त वित्तीय सहायता एवं सहकारिता को बल देने हेतु कंप्यूटरीकरण के लिए नाबार्ड द्वारा प्रदान कि गयी सहायता के बारे में सदन को अवगत कराया। उन्होंने बताया कि कृषि एवं ग्रामीण विकास, लघु उद्योगों को बढ़ावा देना, वित्तीय साक्षरता व सूक्ष्म ऋण को लोगों तक पहुँचना नाबार्ड की प्राथमिकता रही है।